नई दिल्ली
राज्यसभा में बुधवार को सत्ता पक्ष और विपक्ष के सदस्यों के बीच समाजवादी पार्टी सांसद नरेश अग्रवाल की एक टिप्पणी को लेकर माहौल बेहद तनावपूर्ण हो गया। गाय और राम को लेकर की गई इस टिप्पणी पर वित्त मंत्री अरुण जेटली और अनंत कुमार बुरी तरह से भड़क गए। उन्होंने अग्रवाल से तुरंत माफी मांगने को कहा। हालांकि अग्रवाल के ये शब्द बाद में सदन की कार्यवाही से हटा दिए गए।
बुधवार को विपक्षी दलों ने किसानों और दलितों के मुद्दे पर सरकार को घेरने की कोशिश की। इस क्रम में समाजवादी पार्टी के सांसद नरेश अग्रवाल ने सरकार पर निशाना साधते हुए राम जन्मभूमि का जिक्र करते हुए कहा कि कुछ लोग हिंदू धर्म के ठेकेदार हो गए हैं।
उन्होंने कहा, ‘मुझे याद है कि 1991 में राम जन्मभूमि का जब आंदोलन चल रहा था, तो उस समय जनता के बीच मुझे भी सफाई देनी पड़ती थी, हम एमएलए का चुनाव लड़ रहे थे। बीजेपी के कुछ ठेकेदार थे जो खुद को बीजेपी और वीएचपी का बताते थे। वह कहते थे जो हमारा सर्टिफेकेट लेकर नहीं आए, वह हिंदू नहीं है। उन्होंने कुछ लाइनों को पढ़ते हुए कहा कि इन्हें जेल की दीवारों पर रामभक्तों ने लिखा हुआ था।’ इन लाइनों को सुनकर सत्ता पक्ष के सांसद उत्तेजित हो गए।
बेहद गुस्से में नजर आ रहे अनंत कुमार अपनी सीट से खड़े हो गए और अग्रवाल से माफी मांगने के लिए कहा। उन्होंने कहा कि अग्रवाल ने अपनी टिप्पणी से पूरे हिंदू समाज का अपमान किया है। उन्होंने कहा कि अगर अग्रवाल यह टिप्पणी बाहर बोलते तो उन पर केस हो जाता। जेटली ने कहा कि अग्रवाल ने हर हिंदू भगवान को शराब से जोड़ा है। इसके लिए उन्हें माफी मांगनी चाहिए। इस दौरान ‘श्री राम का अपमान, नहीं सहेगा हिंदुस्तान’ के नारे लगाए गए।
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