खूंखार आतंकी की मदद से राम रहीम ने हथियाई थी डेरा की गद्दी

गुरुजंत सिंह को उसके चाचा की हत्या के बाद जेल भेज दिया गया था। वह जेल में ही अलगाववादी खलिस्तानी आतंकवादियों के संपर्क में आया. बाद में जब वह जेल से बाहर आया तो गुरुजंत एक खलिस्तानी आतंकवादी बन गया.

नई दिल्ली : खालिस्तान के सबसे खतरनाक आतंकी गुरुजंत सिंह की मदद से डेरा प्रमुख उर्फ़ गुरमीत रामरहीम ने डेरा की गद्दी हथियाई थी. बाबा रामरहीम के बचपन का दोस्त गुरुजंत सिंह बचपन से ही अपराधी प्रवृत्ति का था. गुरुजंत सिंह को उसके चाचा की हत्या के बाद जेल भेज दिया गया था। वह जेल में ही अलगाववादी खलिस्तानी आतंकवादियों के संपर्क में आया. बाद में जब वह जेल से बाहर आया तो गुरुजंत एक खलिस्तानी आतंकवादी बन गया. आसपास के इलाकों में गुरजंत का खौफ आसपास के इलाकों में बढ़ने लगा. गुरमीत इस बीच डेरा में पूर्णकालिक कार्यकर्ता थे।

जब गुरुजंत जेल से बाहर निकला तो खूंखार आतंकी बन चुका था. आसपास के जिलों सिरसा और डेरा में लोग उसके नाम से कांपते थे. कहा जाता है कि 1990 में जब बाबा राम रहीम डेरा प्रमुख बने तो उनके खूंखार दोस्त गुरुजंत सिंह ने तात्कालिक गुरु शाह सतनाम सिंह पर दबाव बनाया था। इसके चलते सीधे-साधे गुरु सतनाम सिंह ने एक दिन अचानक अपने रिटायर होने की घोषणा कर दी. सूत्रों के मुताबिक आतंकी गुरुजंत सिंह के दबाव में आने पर 23 सितम्बर 1990 को बाबा गुरमीत सिंह को डेरे का प्रमुख बताया गया.

बाबा राम रहीम का जन्म राजस्थान के श्रीगंगानगर जिले के गुरुसर मोदिया के जट सिख परिवार में 15 अगस्त 1967 को हुआ था. गुरमीत राम रहीम की मां का नाम नसीब कौर इंसा है. जब वह सात साल के थे तत्कालीन डेरा प्रमुख शाह सतनाम सिंह जी ने उनको यह नाम दिया. 1990 में बाबा राम रहीम ने डेरा सच्चा सौदा की गद्दी संभाली थी और डेरा प्रमुख बनने के बाद गुरमीत सिंह का नाम संत गुरमीत राम रहीम सिंह इंसां हो गया.

राम रहीम पर एक पत्रकार और एक अन्य की हत्या का भी अारोप है। आरोप है कि छत्रपति ने साध्वी बलात्कार मामले को अपने अखबार में छापा तो नवंबर 2002 में उसकी गोली मार कर हत्या कर दी गई। ये मामला अभी फाइनल स्टेज में है, ये मामला उसी कोर्ट है जिसमे बाबा राम रहीम पर फैसला आना है।

राम रहीम पर ये भी आरोप है कि उन्होंने डेरे के पूर्व प्रबंधक रंजीत सिंह की भी हत्या करवाई, क्योंकि वो डेरे के कई राज जान चुका था। रंजीत सिंह की 10 जुलाई 2003 को हत्या कर दी गई थी और तब इन दोनों हत्याओं में डेरा सच्चा सौदा का नाम सामने आया था।

बाबा पर 400 साधुओं को नपुंसक बनाने का मामला भी दर्ज है। डेरा में यह कहकर साधुओं को नपुंसक बनाया गया था कि नपुंसक बनाए जाने से वे लोग डेरा प्रमुख के जरिए प्रभु को महसूस कर सकेंगे। यही नहीं डेरा सच्चा सौदा का साम्राज्य विदेशों तक फैला हुआ है। देश में डेरा के करीब कई आश्रम हैं और उसकी शाखाएं अमेरिका, कनाडा और इंग्लैंड से लेकर ऑस्ट्रेलिया और यूएई तक फैली हुई हैं।