वीर सावरकर बुद्धू थे और अरुण जेटली घमंडी हैं: सुब्रमनियन स्वामी

राज्यसभा सांसद स्वामी ने कहा कि जब इटली और इजिप्त कालाधन वापस ला सकते हैं तो भारत क्यों नहीं ला सकता? भाजपा के अंदर ही कई ऐसे नेता हैं जो नहीं चाहते कि कालाधन वापस आए.

सूरत: भाजपा नेता व राज्यसभा सदस्य सुब्रमनियन स्वामी ने एक कार्यक्रम में केंद्रीय वित्त मंत्री अरुण जेटली और कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी पर जमकर निशाना साधा है. साथ ही, उन्होंने केंद्र की नरेंद्र मोदी सरकार की कालेधन को भारत वापस लाने की मंशा पर भी प्रश्न खड़ा किया और स्वतंत्रता सेनानी वीर सावरकर को बुद्धु करार दिया.

पत्रिका की एक रिपोर्ट के अनुसार, स्वामी ने सोनिया गांधी और स्वतंत्रता सेनानी वीर सावरकर पर जमकर तंज कसे.  सूरत के वीर नरमद दक्षिण गुजरात विश्वविद्याल में  आयोजित एक समारोह में शामिल हुए स्वामी ने कहा कि वे कभी सावरकर से जुड़े कार्यक्रमों में नहीं जाते क्योंकि वे बुद्धू थे. सावरकर की नासमझी के कारण जवाहर लाल नेहरु को सर्वाधिक फायदा हुआ जो एकदम एंटी हिंदू थे.

इसके बाद स्वामी ने केंद्रीय वित्त मंत्री अरुण जेटली को भी नहीं बख्शा. उन्होंने कहा कि कालेधन के मामले में मैंने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को कई बार उपाय बताए कि वह राशि कैसे भारत आएगी. लेकिन, वित्त मंत्रालय पहुंचते ही मेरा पत्र रद्दी में डाल दिया गया. इसकी वजह मंत्रालय में मौजूद वित्त मंत्री अरुण जेटली का घमंडी होना है.

टाइम्स ऑफ इंडिया की रिपोर्ट के मुताबिक स्वामी ने कहा, सरकार ने कभी मुझसे नहीं पूछा कि कालाधन कैसे वापस लाना है? जब इटली और इज़िप्त कालाधन वापस ला सकते हैं तो भारत क्यों नहीं ला सकता?

उन्होंने कहा कि कालेधन पर संयुक्त राष्ट्र का एक संकल्प-पत्र है. भारत आसानी से उस संकल्प-पत्र का प्रयोग करके कालाधन देश में वापस ला सकता है. लेकिन, ऐसा प्रतीत होता है कि भाजपा के अंदर ही कई ऐसे नेता हैं जो ऐसा नहीं होने देना चाहते हैं.

उन्होंने कहा, ‘मैंने प्रधानमंत्री को बताया था कि मैं काले धन को देश में वापस लाने का एक आसान तरीका दिखा सकता हूं. उन्होंने मुझे लिखित में देने को कहा. मैंने दिया. मेरा पत्र वित्त मंत्रालय को आगे भेज दिया गया.’

स्वामी आगे बोले, ‘मैंने उन्हें कालेधन के चोरों को पकड़ने और जेल भेजने का तरीका बताया. यही मैंने सोनिया गांधी के साथ नेशनल हेराल्ड केस में किया. उन्हें केस में दोषी ठहराया गया और वे जमानत पर बाहर हैं. मैं यह सुनिश्चित करूँगा कि सोनिया को फिर से जेल भेज भेजा जाए. इसी तरह, पी चिदंबरम भी जेल जाएंगे. लोग पूछते हैं कि क्यों मैं चिदंबरम के पीछे हूं? मैं उन्हें बताता हूं, वे मुझे हिंदू आतंकी बुलाते थे, अब मैं उन्हें दिखाऊंगा कि सच्चा हिंदू आतंक क्या होता है.’

साथ ही उन्होंने कहा कि वे पूर्व कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी और पूर्व केंद्रीय वित्तमंत्री पी.चिदंबरम को जेल भजेंगे.

स्वामी ने कहा कि मोदी सरकार से लोगों को जिस परिवर्तन की आशा थी उसमें सफलता नहीं मिली है. इसकी वजह सरकारी योजनाओं में कमी रही. उन्होंने आगे कहा,  ‘हालांकि जनता मोदी सरकार को 2019 में एक और मौका देगी. जनता आर्थिक विकास पर वोट नहीं देती बल्कि भावनाओं की अहमियत समझती है.’

उन्होंने कहा कि पिछले चार सालों में प्रधानमंत्री ने ईंट तो रखी है लेकिन इमारत का निर्माण करने के लिए सही कारीगर उन्हें नहीं मिल सका है. यह अपनी पुरानी गलतियों से सीखने का समय है.