स्मृति ईरानी और ​​जितेंद्र सिंह टीएन शेषन के मौत की झूठी खबर के जाल में फंसे

भारत के पूर्व मुख्य निर्वाचन आयुक्त टीएन शेषन के निधन की झूठी खबर कई दिनों से सोशल मीडिया पर चल रही है। इस फर्जी खबर को Boomlive, SM Hoax Slayer, DNA और Times Now ने 2 अप्रैल को ही गलत बताया था। न केवल तथ्य जाँच करने वाली वेबसाइट बल्कि मुख्यधारा के मीडिया ने भी प्रमुखता से इस खबर को खारिज कर दिया था। इसके बावजूद 6 दिनों बाद इस फर्जी खबर के फेर में कौन फंस सकता है? इस लम्बी सूची में सूचना एवं प्रसारण मंत्री स्मृति ईरानी का नाम भी आता है।

स्मृती ईरानी ने डॉ जितेंद्र सिंह के ट्वीट को रिट्वीट करते हुए अपनी संवेदना व्यक्त की थी। जितेंद्र सिंह उत्तर पूर्वी क्षेत्र के विकास राज्य मंत्री (स्वतंत्र प्रभार) हैं। जीतेन्द्र सिंह ने लिखा था, “टीएम शेषन का 6 अप्रैल को निधन हो गया। उनकी पत्नी का एक दिन पहले निधन हो गया था। उनके बच्चे नहीं हैं। एक ईमानदार कैबिनेट सचिव और बाद में मुख्य चुनाव आयुक्त रहकर उन्होंने मिसाल कायम कीं। कई तरह से यह एक युग की समाप्ति है।” (अनुवाद) नीचे की तस्वीर में दिखाए गए दोनों ट्वीट्स को अब हटा दिया गया है।

टीएन शेषन की पत्नी जयलक्ष्मी शेषन का 31 मार्च, 2018 को निधन हो गया था। उनकी मृत्यु के तुरंत बाद, अफवाहें शुरू हो गईं कि एक दिन बाद ही श्री शेषन भी गुजर गए। Boomlive ने टीएन शेषन की चेन्नई निवास स्थान पर फोन किया तो एक रिश्तेदार ने पुष्टि की कि यह खबर एक अफवाह है और वह (टीएन शेषन) बिलकुल ठीक हैं।

दिलचस्प बात यह है कि नकली समाचारों के प्रसार को रोकने के प्रयासों के लिए स्मृति ईरानी हाल ही में खबरों में रही थी। इस सन्दर्भ में फर्जी खबर को लेकर गाइडलाइंस लाने के कुछ ही घंटो बाद इसे वापस ले लिया गया था। सूचना और प्रसारण मंत्रालय ने अब समाचार पोर्टलों और मीडिया वेबसाइटों के लिए नियमों को तैयार करने के लिए एक समिति गठित की है। यह बेहद हास्यप्रद है कि एक ओर मंत्री नकली समाचारों को रोकने के नियमों की गाइडलाइंस लाने की बात कर रही हैं, वहीँ दूसरी तरफ इस तरह के नकली व्हाट्सएप फॉरवर्ड का खुद शिकार होती हैं।